26.3 C
Dehradun
Sunday, June 1, 2025

पीएम मोदी ने e-RUPI को किया लॉन्च, जानिए क्या है e-RUPI और कैसे करेगा काम…!

नई दिल्ली: डिजिटल करेंसी की ओर पहला कदम बढ़ाते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज एक इलेक्ट्रॉनिक वाउचर बेस्ड डिजिटल पेमेंट सिस्टम को लॉन्च किया, जिसका नाम ‘e-RUPI’ है। e-RUPI डिजिटल भुगतान का प्लेटफॉर्म है। इसके जरिए लाभार्थियों को सीधे फायदा पहुंचेगा।

भारत में फिनटेक का बहुत बड़ा आधार तैयार…

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘मुझे विश्वास है कि e-RUPI वाउचर भी सफलता के नए अध्याय लिखेगा। इसमें हमारे बैंकों और पेमेंट गेटवे की बहुत बड़ी भूमिका है। हमारे सैंकड़ों प्राइवेट अस्पतालों, कॉर्पोरेट्स, उद्योग जगत, NGOs और दूसरे संस्थानों ने भी इसको लेकर बहुत रुचि दिखाई है।’ उन्होंने कहा, ‘देश में डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर और डिजिटल ट्रांजेक्शन के लिए जो काम पिछले 6-7 वर्षों में हुआ है, उसका लोहा आज दुनिया मान रही है। विशेषकर भारत में फिनटेक का बहुत बड़ा आधार तैयार हुआ है। ऐसा आधार तो बड़े-बड़े देशों में भी नहीं है।’

पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘हमारी सरकार ने पीएम स्वनिधि योजना की शुरुआत की। आज देश के छोटे-बड़े शहरों में, 23 लाख से अधिक रेहड़ी-पटरी और ठेले वालों को इस योजना के तहत मदद दी गई है। इसी कोरोना काल में करीब-करीब 2,300 करोड़ रुपये उन्हें दिए गए हैं।’उन्होंने कहा, ‘अगर सरकार द्वारा किताबों के लिए पैसा भेजा गया है, तो e-RUPI सुनिश्चित करेगा कि किताबें ही खरीदी जाएं। यूनीफॉर्म के लिए पैसे भेजे गए हैं, तो उसी के उपयोग में खर्च हो, यदि खाद के लिए पैसे भेजे गए हैं, तो उसमें ही खर्च किए जाएं।’

कैसे जारी किए जाएंगे ये वाउचर

इस सिस्टम को NPCI द्वारा उसके UPI प्लेटफॉर्म पर डेवलप किया गया है और इसमें बैंकों को शामिल किया गया है जो इन वाउचर्स को जारी करने का काम करेंगी। किसी भी कॉर्पोरेट या सरकारी एजेंसी को इसे प्राप्त करने के लिए पार्टनर बैंक्स से कॉन्टैक्ट करना होगा जो प्राइवेट और सरकारी दोनों हो सकते हैं। इसके साथ इस बात की भी जानकारी देनी होगी कि ये किसके लिए और किस उद्देश्य से लिया जा रहा है। बेनिफिशिएरी की पहचान उनके मोबाइल नंबर से की जाएगी बैंक द्वारा सर्विस प्रोवाइडर को किसी व्यक्ति के नाम का वाउचर सिर्फ उसी व्यक्ति को दिया जाएगा।

e-RUPI का कहां-कहां हो सकता है इस्तेमाल

सरकार के मुताबिक e-RUPI वेलफेयर सर्विसेज की लीक-प्रूफ डिलिवरी की पुष्टि करेगा। इसका इस्तेमाल मदर एंड चाइल्ड वेलफेयर स्कीम, टीबी इरैडिकेशन प्रोग्राम के तहत दवाओं और न्यूट्रिशनल सपोर्ट और आयुष्मान भारत प्रधान मंत्री जन आरोग्य योजना और फर्टीलाइजर सब्सिडी के तहत सुविधा देने के लिए किया जा सकता है। इसके साथ ही सरकार ने यह भी कहा है कि प्राइवेट सेक्टर भी अपने कर्मचारियों को वेलफेयर एंड कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी प्रोग्राम के तहत डिजिटल वाउचर्स दे सकता है।

spot_img

Related Articles

spot_img
spot_img
spot_img

Latest Articles

एक महीने में केदारनाथ धाम यात्रा में लगभग 200 करोड़ का कारोबार

0
केदारनाथ: केदारनाथ धाम यात्रा हर वर्ष नए कीर्तिमान स्थापित कर रही है। एक ओर जहां बाबा केदारनाथ के दर्शन को देश विदेश से पहुंचने...

हरिद्वार में किया वात्सलय गंगा आश्रय का लोकार्पण

0
देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने रविवार को हरिद्वार पहुँचकर वात्सलय गंगा आश्रय का लोकार्पण किया तथा श्रीकृष्ण कथा में प्रतिभाग करते हुए साधु...

कोरोना फिर हो रहा खतरनाक, देश में एक्टिव केस 3000 पार

0
नई दिल्ली: कोरोना वायरस एक बार फिर डराने लगा है। स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, देश में कोविड-19 के सक्रिय मामलों में संख्या 3,395 हो...

आठ राज्यों में 15 ठिकानों पर छापेमारी; पाकिस्तान के लिए जासूसी मामले के संदिग्धों...

0
नई दिल्ली: पाकिस्तान से जुड़े जासूसी मामले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने शनिवार को देश के आठ राज्यों में 15 ठिकानों पर छापे...

सीडीएस चौहान बोले-भारत ने आतंक के खिलाफ नई लाल रेखा खींची

0
नई दिल्ली। सीडीएस जनरल अनिल चौहान ने शनिवार को सिंगापुर में शांगरी-ला डायलॉग के तहत आयोजित कार्यक्रम में कहा कि भारत ने ऑपरेशन सिंदूर...