उत्तराखंड से पहली बार सांसद और भाजपा के वरिष्ठ नेता अजय भट्ट को मोदी मंत्रीमंडल में जगह मिली है. मोदी मंत्रिमंडल में जगह मिलने के साथ ही अजय भट्ट के समर्थकों में ख़ुशी की लहर है. अजय भट्ट दो बार भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष रह चुके हैं. भट्ट राजनीति के मंझे हुए खिलाड़ी और उत्तराखंड की राजनीति का एक बड़े चेहरे के रूप में रहे हैं. उत्तराखंड के पाँच लोकसभा सांसद और दो राज्यसभा सांसदों में से अजय भट्ट एक मात्र ऐसे चेहरे हैं जो केंद्रीय मंत्रिमंडल में काम करेंगे. इससे पहले मोदी कैबिनेट में पूर्व सीएम और हरिद्वार से सांसद डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक बतौर केंद्रीय शिक्षा मंत्री काम कर रहे थे. स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए निशंक ने आज ही अपना इस्तीफा सौंपा था. जिसके बाद अजय भट्ट का नाम मंत्री मंडल में शामिल किया गया.
अजय भट्ट के सियासी सफर की बात की जाए साल 25 साल के राजनैतिक जीवन में अजय भट्ट के लिए ये दूसरा मौका है जब वो मंत्री बन पाए हैं. उत्तराखंड जब उत्तर प्रदेश का हिस्सा था तब 1996 में अजय भट्ट पहली बार रानीखेत से विधायक चुनकर उत्तर प्रदेश की विधानसभा में पहुंचे. सन 2000 में उत्तराखंड, यूपी से अलग हो गया और नए राज्य में तब जो कार्यवाहक सरकार बनी उसमें अजय भट्ट स्वास्थ्य राज्य मंत्री बनाए गए. 2002 की शुरुआत में हुए विधानसभा चुनाव में भाजपा हार गई और चुनाव जीत कर भी अजय भट्ट को विपक्ष में बैठना पड़ा.
हरीश रावत को 3 लाख वोट से हराया
अजय भट्ट साल 2019 में 17वीं लोकसभा में नैनीताल ऊधमसिंहनगर वे पहली बार सांसद गयें, इस चुनाव में उन्होंने उत्तराखण्ड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत जैसे दिग्गज को लगभग साढ़े तीन लाख वोटो से हराकर अपनी लोकप्रियता का डंका बजा दिया तथा प्रदेश में सबसे ज्यादा मतो से जीतने वाले सांसद बने. बतौर सांसद अजय भट्ट ने पहले कार्यकाल में ही दिखा दिया कि वे सदन के कार्यों में खासे सक्रिय है। उन्होंने सत्रो के दौरान सदन में उत्तराखण्ड से जुड़े मुद्दों को गम्भीरता से उठाकर अपनी उत्कृष्ट कार्यशैली का सिक्का जमा लिया। वे संसद की बहसों और विशेष उल्लेखित चर्चाओं में सक्रिय भागीदारी निभाते है. उन्होंने राज्य की मूलभूत जरुरत जैसे स्वास्थ्य, सड़क परिवहन और रेलवे आदि से सम्बन्धित कई प्रश्नों को सदन के पटल पर रखा। सदन में उनकी उपस्थिति भी शानदार रही है, जिस कारण उनको ससंद में रक्षा समिति अधीनस्थ विधान संबंधी समिति, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण, परामर्शदात्री समिति एवं प्राकलन समिति का सदस्य बनाया गया है, जिसका वे काफी कुशलता पूर्वक निर्वहन कर रहे है.
कई देशों की कर चुके विदेश यात्रा
उन्होंने अपने उत्तर प्रदेश के विधायकी कार्यकाल में कनाड़ा, आस्ट्रेलिया, इंग्लैण्ड थाईलैण्ड एवं उत्तराखण्ड के विधायकी कार्यकाल में संयुक्त राज्य अमेरिका की विदेश यात्रा भी की है. विशेषता विषय की समझ और गम्भीरता से सदन पटल पर रखने की कला संसद में उत्तराखण्ड की सड़क, स्वास्थ्य, पेयजल, शिक्षा ओर पलायन से जुड़े जरुरी मुद्दों को मजबूती से उठाते है. संसदीय क्षेत्र में विकास के लिए सक्रिय.