25 C
Dehradun
Tuesday, June 24, 2025

भव्य उज्जैन महाकाल कॉरिडोर का 11 अक्टूबर को पीएम मोदी करेंगे उद्धाटन, जानें क्या है खास

बाबा विश्वनाथ का दर्शन करने के लिए वैसे तो हर साल देश-विदेश से लाखों लोग पहुंचते हैं, लेकिन काशी कॉरिडोर की शुरुआत के बाद श्रद्धालुओं की संख्या में काफी इजाफा हुआ है। अब बाबा विश्वनाथ का दर्शन करने वाले लोगों को पहले से और बेहतर सुविधाएं मिल रही है। कुछ इसी प्रकार की सुविधा आने वाले समय में उज्जैन महाकाल के दर्शन के लिए आने वाले श्रद्धालुओं को भी मिलेंगी।

पहले चरण का होगा लोकार्पण

दरअसल, हाल ही में मध्य प्रदेश के सीएम शिवराज सिंह चौहान ने बताया कि पीएम मोदी 11 अक्टूबर को उज्जैन में महाकालेश्वर मंदिर गलियारा परियोजना के पहले चरण का उद्घाटन करेंगे। महाकाल विस्तारीकरण योजना के तहत पहले फेज में तैयार महाकाल पथ, रुद्र सागर और यूडीए के यात्री सुविधा केंद्र का लोकार्पण करेंगे। इसके बाद महाकाल कॉरिडोर को जनता के लिए खोल दिया जाएगा। पहले चरण को 316 करोड़ रुपये की लागत से विकसित किया गया है। बता दें कि महाकाल कॉरिडोर निर्माण का काम दो चरणों में किया जा रहा है, इसके लिए करीब 750 करोड़ रुपए खर्च किए जा रहे हैं। उज्जैन में महाकाल मंदिर कॉरिडोर करीब 900 मीटर क्षेत्र में बनाया गया है।

महाकाल कॉरिडोर में क्या है खास

कहा जा रहा है कि उज्जैन में बन रहे कॉरिडोर का आकार काशी विश्वनाथ मंदिर से बड़ा है। कॉरिडोर में शिव तांडव स्त्रोत, शिव विवाह, महाकालेश्वर वाटिका, महाकालेश्वर मार्ग, शिव अवतार वाटिका, प्रवचन हॉल, नूतन स्कूल परिसर, गणेश विद्यालय परिसर, रूद्रसागर तट विकास, अर्ध पथ क्षेत्र, धर्मशाला और पार्किंग सर्विसेस भी तैयार किया जा रहा है। इसके अलावा कॉरिडोर में 108 आकर्षक स्तंभ बनाए गए हैं जबकि भगवान शिव के 190 स्वरूप की अलग-अलग मूर्तियां के भी दर्शन होंगे। परिसर में ई-रिक्शा के माध्यम से उन श्रद्धालुओं का आवागमन कराया जाएगा, जिन्हें चलने में दिक्कत होगी। प्रसाद आदि खरीदने के लिए परिसर में ही दुकानें भी रहेंगी।

भारत में तीर्थ पर्यटन

अगर भारत में तीर्थ पर्यटन पर गौर करें, तो पिछले कुछ साल में इस ओर काफी विकास किया जा रहा है। हृदय” योजना, प्रसाद, धार्मिक सर्किट जैसी कई योजनाएं चलाई जा रही हैं। दरअसल इसका कारण यह है कि भारत में पर्यटन का आकार काफी बड़ा है। पर्यटन एक उद्योग जगत का रूप ले चुका है, भारत में यात्रा व पर्यटन उद्योग करीब 10 करोड़ लोगों को प्रत्यक्ष एवं परोक्ष रूप से रोजगार प्रदान कर रहा है एवं देश के कुल रोजगार में पर्यटन उद्योग की 12 प्रतिशत की हिस्सेदारी है।

ऐसे में भारत में प्राचीन समय से ही धार्मिक स्थलों की यात्रा, पर्यटन उद्योग में एक विशेष स्थान रखती है और आने वाले यात्रियों की सुविधा और देश में रोजगार के अवसर बढ़ाने में तीर्थ पर्यटन का काफी योगदान है। तीर्थ पर्यटन के विकास से रोजगार और यात्रियों की सुविधा के अलावा देश में धार्मिक पर्यटन को भी पंख मिल रहा है।

spot_img

Related Articles

spot_img
spot_img
spot_img

Latest Articles

CM फडणवीस के बारे में आपत्तिजनक पोस्ट का मामला, कोर्ट ने आरोपी को अग्रिम...

0
मुंबई: मुंबई की एक अदालत ने मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के बारे में आपत्तिजनक पोस्ट करने के आरोपी को अग्रिम जमानत देने से इनकार कर...

गृह मंत्री अमित शाह के साथ चार प्रदेशों के सीएम ने की मीटिंग, विभिन्न...

0
वाराणसी। भारत सरकार में केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह लाल बहादुर शास्त्री एयरपोर्ट पर सोमवार की शाम को पहुंचे। एयरपोर्ट पहुंचने पर...

ईरान ने कतर के बाद इराक और सीरिया में भी दागी मिसाइलें, अमेरिकी सैन्य...

0
दोहा: ईरान ने सोमवार की देर रात कतर में अमेरिकी सैन्य अड्डे अल उदीद पर मिसाइल हमला किया है। अमेरिका की ओर से ईरान...

मुख्यमंत्री ने दिए सारकोट की तर्ज पर प्रत्येक जिले में दो-दो आदर्श गांव बनाने...

0
देहरादून। मुख्यमंत्री आदर्श ग्राम सारकोट की तर्ज पर राज्य के प्रत्येक जिले में दो-दो आदर्श गांव बनाए जाएंगे। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार...

नैनीताल हाईकोर्ट ने लगाई पंचायत चुनाव पर रोक

0
देहरादून। नैनीताल हाईकोर्ट ने धामी सरकार को बड़ा झटका दे दिया है। सोमवार को आरक्षण विवाद पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने पंचायत चुनाव...