भारतीय महिला हॉकी टीम के मुख्य कोच शोर्ड मारिन ने टीम इंडिया को छोड़ने का फैसला कर लिया है। शुक्रवार (6 अगस्त) को मारिन ने टोक्यो ओलंपिक में भारत और ग्रेट ब्रिटेन के बीच कांस्य पदक के लिए खेले गए मुकाबले में हार के बाद कहा कि यह उनका भारत के साथ आखिरी टूर्नामेंट था। शोर्ड मारिन के नेतृत्व में भारतीय महिला हॉकी टीम ने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया। उनके कोचिंग निर्देशन में भारतीय महिला हॉकी पहली बार ओलंपिक के सेमीफाइऩल तक पहुंचने में सफल रही।
ब्रिटेन के खिलाफ हुए कांस्य पदक मुकाबले में भारतीय महिला हॉकी टीम को 4-3 से मिला हार के बाद उन्होंने इस्तीफा देने का एलान किया। शोर्ड ने ऑनलाइऩ प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा, अब मेरी कोई योजना नहीं है यह भारतीय महिला हॉकी टीम के साथ मेरा अंतिम मैच था। अब टीम जानेका के हवाले है।
सूत्रों के हवाले से ऐसा कहा जा रहा है कि शोर्ड मारिन और विश्लेषणात्म कोच जानेका शोपमैन दोनों को स्पोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया की तरफ से कार्यकाल बढ़ाने की बात कही गई थी। लेकिेन हेड कोच ने निजी कारणों का हवाला देते हुए इस प्रस्ताव को स्वीकार नहीं किया। इस घटना से जुड़े एक सूत्र ने समाचार एजेंसी पीटाआई को बताया कि शोपमैन आऩे वाले समय में भारतीय महिला हॉकी टीम के मुख्य कोच हो सकते हैं।
नीदरलैंड के पूर्व हॉकी खिलाड़ी शोर्ड मारिन को साल 2017 में भारतीय महिला हॉकी टीम का कोच बनाया गया था। इसके बाद उन्हें पुरुष टीम का कोच नियुक्त किया गया। लेकिन 2018 आते-आते उन्हें फिर से महिला टीम का कोच बना दिया गया। अब तक का उनका कोचिंग करियर बेहतरीन रहा है। उनके नेतृत्व भारतीय महिला टीम ने टोक्यो ओलंपिक में सेमीफाइनल तक का सफर तय किया। शोर्ड कोरोना वायरस वैश्विक महामारी के चलते लागू प्रतिबंधों की वजह से बीते 16 महीनों से अपने घर नहीं जा पाए थे। उनके इस्तीफे की मुख्य वजह इसे माना जा रहा है।